माँ
काश होती वो तो सर हलके से सहला देती
सुनाकर गीत प्यार भरे मन को जरा बहला देती
अगर थक जाते राहो में चलते चलते
पकड़कर उंगली क़दमों को डगमगाने से बचा लेती
माँ अगर होती तू पास हमे अपने आँचल में छुपा लेती
दूर हूँ माना तुझसे बहुत माँ
लेकिन तू होती अगर पास तो अपना कहकर सीने से लगा लेती
पाँव में अगर लगता काँटा भी
तू खुद उसको प्यार से निकाल देती
तेरी कमी हर पल सताती है माँ
तू होती तो मुझे ममता के आँचल में छुपा लेती
BY NEHA SHARMA
nice Poem Gr8
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